II भजन II
बड़ी देर भई नंदलाला,
तेरी राह तके बृजबाला ।
बड़ी देर भई नंदलाला,
तेरी राह तके बृजबाला ।
ग्वाल-बाल इक-इक से पूछे
कहाँ है मुरली वाला रे
बड़ी देर भई नंदलाला,
तेरी राह तके बृजबाला ।
कोई ना जाए कुञ्ज गलिन में,
तुझ बिन कलियाँ चुनने को ।
तुझ बिन कलियाँ चुनने को ।
तरस रहे हैं..
तरस रहे हैं जमुना के तट,
धुन मुरली की सुनने को ।
अब तो दरस दिखा दे नटखट,
क्यों दुविधा में डाला रे ।
बड़ी देर भई नंदलाला,
तेरी राह तके बृजबाला ।
बड़ी देर भई नंदलाला,
तेरी राह तके बृजबाला ।
संकट में है आज वो धरती,
जिस पर तूने जनम लिया ।
जिस पर तूने जनम लिया ।
पूरा कर दे…
पूरा कर दे आज वचन वो,
गीता में जो तूने दिया ।
कोई नहीं है तुझ बिन मोहन,
भारत का रखवाला रे ।
बड़ी देर भई नंदलाला,
तेरी राह तके बृजबाला ।
बड़ी देर भई नंदलाला,
तेरी राह तके बृजबाला ।
ग्वाल-बाल इक-इक से पूछे
कहाँ है मुरली वाला रे ।
बड़ी देर भई नंदलाला,
तेरी राह तके बृजबाला ।
बड़ी देर भई नंदलाला,
तेरी राह तके बृजबाला ।
Badi Der Bhai Nandlala | बड़ी देर भई नंदलाला, तेरी राह तके बृजबाला Bhajan पीडीएफ हिंदी में प्राप्त करें
यह भी पढ़ें
- सुंदरकांड दोहा 1-10 हिंदी में ~ Sunderkand Doha 1-10 in Hindi
- सुंदरकांड दोहा 11-20 हिंदी में ~ Sunderkand Doha 11-20 in Hindi
- सुंदरकांड दोहा 21-30 हिंदी में ~ Sunderkand Doha 21-30 in Hindi
- सुंदरकांड दोहा 31-40 हिंदी में ~ Sunderkand Doha 31-40 in Hindi
- सुंदरकांड दोहा 41-50 हिंदी में ~ Sunderkand Doha 41-50 in Hindi
- सुंदरकांड दोहा 51-60 हिंदी में ~ Sunderkand Doha 51-60 in Hindi
- सुंदरकाण्ड के 60 दोहे – SUNDERKAND KE DOHE